मालदा। अंग्रेजी माध्यम के प्राथमिक विद्यालय के छात्र वर्तमान शैक्षणिक वर्ष में चौथी कक्षा में उत्तीर्ण करने वाले हैं, लेकिन चौथी कक्षा में उत्तीर्ण करना ही बच्चों और उनके अभिभावकों के लिए बड़ी समस्या बनकर सामने आया है। इसका कारण है कि मालदा में राज्य सरकार के तरफ से अंग्रेजी माध्यम से शिक्षा की कोई व्यवस्था नहीं है।
हालाँकि लड़कियों के लिए शासकीय माध्यमिक अंग्रेजी माध्यम से शिक्षा प्रारंभ की गई है, मगर इंफ्रास्ट्रक्चर के अभाव में लड़कों के लिए किसी भी सरकारी स्कूल में अंग्रेजी माध्यम की पढ़ाई शुरू नहीं हो पाई है और यह मालदा शहर के करीब सौ छात्रों के लिए परेशानी का सबब बनने वाला है, जो इस बार अंग्रेजी माध्यम प्राथमिक विद्यालय से पास होंगे। अभिभावक भी समझ नहीं पा रहे है कि आखिर करें तो क्या करें। सरकारी अंग्रेजी माध्यम प्राथमिक विद्याल में अपने बच्चों को पढ़ाने वाले अभिभावकों के पास इतना पैसा ही नहीं है कि वे प्राइवेट में अपने बच्चों को पढ़ा सकें।
इधर अगले शैक्षणिक वर्ष से इन्हें पांचवीं कक्षा में प्रवेश दिया जाएगा, लेकिन शिक्षा विभाग ने अभी तक माध्यमिक स्तर पर लड़कों को अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाना शुरू नहीं किया है।
वर्तमान में मालदा के एक सरकारी कन्या उच्च विद्यालय में शिक्षा अंग्रेजी माध्यम में है, लेकिन लड़कों के लिए कोई स्कूल नहीं है। शैक्षणिक वर्ष 2019 से शिक्षा विभाग की पहल पर मालदा शहर के तीन प्राथमिक विद्यालयों में अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाई शुरू हो गई है। मालदा में शिवानी अकादमी, मोकदमपुर प्राथमिक विद्यालय और प्रांतपल्ली प्राथमिक विद्यालय में अंग्रेजी माध्यम की शुरुआत की गई है।
वर्त्तमान समय में मालदा शहर में केवल एक उच्चतर माध्यमिक बालिका विद्यालय ने अंग्रेजी माध्यम से पड़े शुरू की गयी है। ऐसे में बारलो गर्ल्स हायर सेकेंडरी स्कूल में लड़कियों को प्रवेश मिल सकता है। लेकिन सबसे बड़ा सवाल है लड़कों का क्या होगा ?
उनके लिए के समस्या है कि अचानक से बांग्ला से पढ़ना मुश्किल हो जाएगा। जिला प्राथमिक शिक्षा विभाग के सूत्रों के अनुसार तीन विद्यालयों में कुल 110 छात्र-छात्राएं हैं. इनमें पचास से अधिक छात्र हैं। दिक्कत उनके दाखिले को लेकर आ रही है।
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