कोलकाता। पश्चिम बंगाल के भांगड़ स्थित एक मकान में विस्फोट का मामला राजनीतिक रंग लेने लगा है। एक तरफ 24 घंटे बाद भी पुलिस इस मामले में किसी नतीजे तक नहीं पहुंच पायी है, वहीं दूसरी ओर तृणमूल कांग्रेस ने इस मामले में आईएसएफ पर आरोप लगाते हुए पुलिस में शिकायत दी है। इसी प्रकार आईएसएफ ने इस मामले में बड़ी साजिश का आरोप लगाते हुए एनआईए से जांच कराने के लिए केंद्र सरकार को पत्र लिखा है।
इस वारदात में एक महिला बम की चपेट में आने से करीब 70 फीसदी तक झुलस गई है, उसे इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है।काशीपुर थाना क्षेत्र की इस घटना को लेकर टीएमसी ने बयान जारी किया है।कहा कि यह कोई गलती से हुआ विस्फोट नहीं, बल्कि घर में बम प्लांट कर विस्फोट कराया गया है। टीएमसी ने इसके लिए आईएसएफ को जिम्मेदार बताया है।कहा कि यह वारदात टीएमसी कार्यकर्ता के घर में अंजाम दिया गया है।
दरअसल इस कार्यकर्ता को आईएसएफ ने अपनी पार्टी में मिलाने के लिए काफी समय से कोशिश कर रही थी। लेकिन जब सफलता नहीं मिली तो इस तरह की घिनौनी वारदात को अंजाम दिया गया, जबकि आईएसएफ की ओर से पहले इस घटना की जांच के लिए केंद्र को पत्र लिखा जा रहा है। इसमें आईएसएफ ने पूछा है कि विस्फोट कैसे हुआ, किसने किया, किस तरह का विस्फोटक इस्तेमाल हुआ, कहीं इसके पीछे कोई बड़ी साजिश तो नहीं? आईएसएफ ने केंद्र सरकार को लिखे अपने पत्र में कहा कि इन सभी सवालों के जवाब मिलने चाहिए।
ISF ने बताया देश की सुरक्षा का मामला
कहा कि राजनीति का विषय नहीं, बल्कि देश की सुरक्षा का है। इसके लिए मामले की एनआईए से जांच होनी चाहिए। उधर, पुलिस ने इस मामले में खुद संज्ञान लेते हुए केस दर्ज किया है, हालांकि घटना के 24 घंटे बाद भी पुलिस किसी संदिग्ध को ना तो गिरफ्तार कर पायी है और ना ही किसी को हिरासत में लिया गया है। पुलिस के मुताबिक यह विस्फोट तृणमूल कार्यकर्ता सरीफुल मुल्ला के घर में हुआ है। इसमें शरीफुल के घर की महिला रोशना बीबी बुरी तरह से झुलस गई हैं।
पुलिस ने बताया कि उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उनकी हालत नाजुक बनी हुई है। आरोप है कि शरीफुल पर आईएसएफ में शामिल होने के लिए दबाव डाला जा रहा था। शरीफुल ने बताया कि यह वारदात ऐसे समय में अंजाम दिया गया है, जब वह खुद घर से बाहर थे. मौसम खराब था और आंधी चल रही थी। जब वह घर लौटे तो देखा कि उनके घर में तीन बम मारे गए हैं।
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