गरीबी की मार, 13 वर्षीय किशोरी पैसे के आभाव में नहीं करा पा रही है चिकित्सा, दूसरों के घर में कर रही है आया का काम
मालदा। कहते है गरीबी सबसे बड़ा अभिशाप होता है, जो इंसान की सारी जिंदगी को दुखो और तकलीफो से भर देती है। इसका एक उदाहरण मालदा के बामन गोला पंचायत के सलालपुर में देखने को मिल रहा है। पैसों के अभाव में चिकित्सा नहीं करा पाने के कारण विस्तर पर पड़ी है घर की एकमात्र कमानेवाली लड़की। पंचायत व ब्लॉक प्रशासन से चिकित्सा के लिए मदद की गुहार लगाने के बाद भी कुछ नहीं हुआ। इस कारण घर चलाने के लिए अब स्कूल की राह छोड़ कर घरों में आया का काम करती है 13 वर्षीय किशोरी प्रतिमा बर्मन।
गौरतलब है कि विभिन्न राज्यों में काम करने के दौरान कोरोना संक्रमण से उसके पिता की कुछ साल पहले मौत हो गई थी। प्रतिमा पिछले कुछ महीनों से शरीर में रक्त की कमी से पीड़ित है। लेकिन अर्थ के अभाव में चिकित्सा नहीं करा पा रही है। प्रतिमा ही घर की एकमात्र कमानेवाली सदस्य है। वह अपनी चिकित्सा के पंचायत भी गई लेकिन कोई सहयोग नहीं मिला। अब भी वह लगातार लोगों और प्रशासन से मदद की गुहार लगाई है।
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