मालदा। हाथ में बंदूक, आँखों में गुस्सा और चेहरे पर आक्रोश। माणिकचक थाने के एसआई समीर साहा का यह अलग रूप उस समय देखने को मिला था, जब वह तृणमूल की आपसी गुटबाजी के कारण चल रही गोलीबारी और बमबारी को रोकने में जुटे थे। इस लड़ाई को रोकने को रोकने के लिए उनको काफी कठिन हालत से गुजरना पड़ा थी। लेकिन इस पुलिस अधिकारी को नौकरी से बिठा दिया गया यानि क्लोज कर दिया गया है।
जिला पुलिस सूत्रों के अनुसार मानिकचक थाना क्षेत्र के बालूटोला क्षेत्र में सत्ताधारी तृणमूल कांग्रेस के दो गुटों में बमबारी को रोकने की कोशिश कर रहे एसआई समीर साहा ने पिछले रविवार को बदमाशों का पीछा किया था और उनके खिलाफ एक्शन लिया था , मगर अब उनको नौकरी से बिठा दिया गया गया है। इस घटना के बाद से कुछ जिला पुलिस अधिकारियों में असंतोष व्याप्त है। कई लोगों का कहना है कि मानिकचक थाने के एसआई समीर साहा ने अपराध पर लगाम लगाने में अहम भूमिका निभाई, लेकिन उन्हें इसकी सजा भुगतनी पड़ रही है। हालांकि, मालदा के पुलिस अधीक्षक प्रदीप कुमार यादव ने इस मामले पर कोई टिप्पणी नहीं की है।
स्थानीय सूत्रों के अनुसार माणिकचक थाना क्षेत्र के बालूटोला गांव में दो दिन पहले दो तृणमूल के दो गुटों के बीच भीषण झड़प हुई थी। इस दौरान जमकर बमबारी और गोलीबारी की गई। हालांकि पुलिस की इस झड़प में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है। लेकिन स्थिति को नियंत्रण में करने के लिए मानिकचक थाने से काफी संख्या में पुलिस बल को बालूटोला गांव आना पड़ा। पुलिस ने बड़ी मुश्किल से स्थिति पर काबू पाया। उस समय संबंधित थाने के एक पुलिस अधिकारी एसआई समीर साहा ने कड़ाई से हालातों को निपटने का प्रयास किया था। उस वक्त उनके हाथ में सर्विस रिवॉल्वर थी। जो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। और दो दिनों के भीतर, जिला पुलिस सूत्रों के अनुसार, एसआई समीर साहा को क्लोज कर दिया गया है। हालाँकि पुलिस ने इलाके में बिखरे बंदूक की गोली के खोल बरामद किए है। इलाके में बड़े पैमाने पर बमबारी के भी संकेत हैं। पूरा गांव पुरुष शून्य है। पुलिस गश्त जारी है। वहां पुलिस ने कार्रवाई करते हुए बदमाशों को गिरफ्तार करना शुरू कर दिया है ।
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