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दुल्हन की तरह सजी मेंढकी, सेहरा सजा कर मेंढक हुआ तैयार, धुपगुड़ी में कराई गई मेंढक-मेंढकी शादी, किसान कर रहे बारिश का इंतजार

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जलपाईगुड़ी। भारत त्योहारों, उत्सवों और आस्था का देश है। यहां विभिन्न धर्मों, जातियों और समुदायों के लोग रहते हैं। सबकी अपनी-अपनी मान्यताएं और धार्मिक विश्वास हैं, लोगों के इस विश्वास को कुछ लोग अन्धविश्वाश भी मानते है, लेकिन कहते है कि जहां आस्था और विश्वास होता है, वह भगवन को भी झुकना पड़ता है। इसलिए लोगों के उनकी आस्था के विषय में कुछ भी कहना गलत है, दरअसल देश के अन्य हिस्सों की तरह ही जलपाईगुड़ी के धुपगुड़ी में भी मेंढक और मेंढकी की शादी कराई गई है।
आपको बता दें कि मौसम की बेरुखी से किसान परेशान हैं। हालांकि आसमान में बादल छाए हुए हैं, लेकिन भारी बारिश नहीं हुई है। कभी-कभी बारिश हो रही है। लेकिन यह चावल की खेती के लिए उपयुक्त नहीं है। इस मौसम में किसान धान लगाने में व्यस्त रहते है, लेकिन वर्तमान समय में बारिश न होने के कारण घर पर बैठे हुए हैं। इतना ही नहीं धान की खेती के क्षेत्र के साथ साथ सबसे ज्यादा पीड़ित जूट किसान भी हैं। किसान जूट के कटने और सड़ने के इंतजार में दिन गिन रहे हैं। किसी तालाब या जलाशय में जूट को विघटित करने के लिए आवश्यक जल नही हैं। कृत्रिम पानी पर किसी तरह जबरन निर्भरता बनी हुई हैं। जेब से अतिरिक्त पैसे देकर कुछ तालाबों में पानी भरना पड़ता है, ताकि किसी तरह जूट की खेती को ज़िंदा रखा जा सकें। लेकिन यह समस्या का समाधान नहीं है। भीषण गर्मी के कारण पानी सूख रहा है। यही कारन है कि धूपगुड़ी में भारी बारिश की उम्मीद में किसानों ने मेंढक-मेंढकी की शादी कराई। इस मेंढक-मेंढकी शादी का आयोजन धूपगुड़ी के वेमटिया इलाके में बड़ी धूमधाम से किया गया था। मेंढक-मेंढकी की शादी के लिए गाजे- बाजे के साथ बारात पहुंची थी। महिलाओं ने गीत गाकर बारात का स्वागत किया, मेंढ़क की शादी में विवाह की सभी रस्में पूरी की गईं। मेंढकी को दुल्हन की तरह सजाया गया था उसे लाल चुनरी ओढ़ाई गई थी. जबकि दुल्हा मेंढक को भी सेहरा पहनाया गया था। इसके बाद महिलाओं ने मंगल गीत गाए तो वहीं पंडित ने शादी के सभी रस्मों को निभाया। शादी में आई बारात नें फिल्मी गानों पर जमकर डांस किया। एक बैंड पार्टी की तरह, शादी समारोह की तरह नाचना, गाना और खाना-पीना हुआ है। सैकड़ों लोग शामिल हुए। खाने के मेन्यू में खिचड़ी, सब्जियां और आलूभांजा शामिल था। किसानों को उम्मीद है मेंढक-मेंढकी की शादी करने से जल्द ही बारिश होगी।


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