नई दिल्ली। क्या तेंदुए को पेड़ पर चढ़ते हुए आपने देखा है? अगर नहीं देखा तो आज देख लीजिए। गोवा में नारियल पानी वाले पेड़ पर एक फीमेल तेंदुआ जा पहुंचा। पेड़ की ऊंचाई 25 मीटर थी और वह मादा टॉप पर बैठी थी। उत्तरी गोवा के पोंडा इलाके में इस तेंदुए को बचाने में अधिकारियों के पसीने छूट गए। 18 घंटे के बाद इस तेंदुए का दिलचस्प तरीके से रेस्क्यू किया गया। अधिकारियों ने बताया कि कुछ घंटे पहले तेंदुआ शायद पानी पीने के लिए थोड़ी दूरी पर आया था। वहां पहाड़ी इलाके से पानी का एक स्रोत है। तभी आसपास के लोगों ने उसे देख लिया। आवारा कुत्तों ने उसका पीछा करना शुरू कर दिया। ऐसे में शायद घबराकर यह बिग कैट कोकोनट ट्री पर चढ़ गया और वहीं पर बैठ गया। लोग यह देखकर हैरान रह गए कि तेंदुआ सीधे खड़े पेड़ पर सरपट कैसे चढ़ गया? अधिकारियों ने आशंका जताई कि पास में दो मंजिला घर की छत से तेंदुआ पेड़ पर चढ़ा होगा। फौरन वन विभाग को सूचना दी गई। बचाव दल में शामिल अली शेख ने बताया कि बेहोशी का इंजेक्शन लगाकर रेस्क्यू करने में जोखिम काफी ज्यादा था। मादा तेंदुआ इतनी ऊंचाई पर थी कि नीचे गिरने पर उसे गंभीर चोट लग सकती थी। अगर तेंदुए का पैर फंसता तो उसके हार्ट पर प्रेशर बढ़ सकता था। ऐसे में वन विभाग की टीम ने शोर मचाकर तेंदुए को नीचे उतारने की कोशिश की। शोरगुल सुनकर देखने वालों की भीड़ लगने लगी। मतलब घंटों बाद भी तेंदुआ नहीं उतरा पर देखने वालों का मेला लग गया। ऐसे में अधिकारियों को इलाके की घेराबंदी करनी पड़ी।
उसी पेड़ पर गरुड़ ने दिए थे अंडे
दिलचस्प बात है कि एक गरुड़ ने उसी पेड़ पर बने घोसले में अंडे दिए थे। तेंदुए को देख गरुड़ ने उस पर हमला कर दिया। उसने बिग कैट को काटने की कोशिश की। तेंदुआ परेशान हुआ और नीचे अधिकारियों को लगा कि शायद अब वह उतर आए। शेख बताते हैं कि आसपास कई घर हैं। ऐसे में यह संभावना थी कि तेंदुए के नीचे आने के बाद इंसानों से उसका संघर्ष हो सकता है। पेड़ के चारों ओर आवारा कुत्ते मौजूद थे और लगातार भौंक रहे थे। यह भी अलग मसला था।
बुझाई गई लाइट और…
आखिरकार अधिकारियों ने ‘गांधीगीरी’ का रास्ता अपनाया। उन्होंने सोचा कि रात में घूमने वाला यह जानवर अंधेरा होने पर शायद अपने आप नीचे आ जाए क्योंकि तब तक शोरगुल काफी कम हो चुका रहेगा। लोग भी अपने घर चले गए होंगे। इसके लिए प्लान तैयार किया गया और स्ट्रीट लाइट बंद कर दी गई। कुत्तों को भी भगा दिया गया। पेड़ के पास ही वन विभाग और रेंजर्स ने डेरा डाल दिया लेकिन वे खामोश रहे और धैर्य के साथ तेंदुए के नीचे उतरने का इंतजार करने लगे। आधी रात करीब 1.15 बजे तेंदुआ अपने आप नीचे उतरा और जंगल की तरफ दौड़ा। अधिकारियों ने बताया कि वह देखने में स्वस्थ लग रहा था और उसकी उम्र 3 साल से ज्यादा हो सकती है। इससे पहले भी एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें एक तेंदुआ नारियल के पेड़ पर चढ़ता दिखा था। कुछ देर बाद दूसरा तेंदुआ भी उसके पीछे चढ़ गया।
If you wondered why the leopard climbed a coconut tree, see till the end🥺 pic.twitter.com/ArEe8XR5o6
— Susanta Nanda IFS (Retd) (@susantananda3) September 18, 2022