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हनीट्रैप मामले में घिरी बीजेडी सरकार, बीजेपी-कांग्रेस तैयार, सीबीआई और एसआईटी जांच की मांग

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भुवनेश्वर। ओडिशा में कथित हनीट्रैप का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। अब भारतीय जनता पार्टी की महिला मोर्चा ने मामले में सीबीआई जांच की मांग की है। वहीं, कांग्रेस की तरफ से भी एसआईटी जांच की मांग उठाई जा रही है। भाजपा ने आरोप लगाए हैं कि सत्तारूढ़ बीजू जनता दल यानी बीजेडी केस को दबाने की कोशिश कर रही है, क्योंकि इसमें पार्टी के कई नेता और मंत्री शामिल हैं। हाल ही में पुलिस ने 28 वर्षीय महिला को गिरफ्तार किया था।
क्या था मामला
दरअसल, इस साजिश का खुलासा बीते महीने हुए था। उस दौरान एक महिला ने उड़िया फिल्म निर्माता अक्षय परीजा के खिलाफ FIR दर्ज कराई थी। महिला ने आरोप लगाए थे कि परिजा ने फिल्म में रोल दिलाने के नाम पर उनका यौन उत्पीड़न किया है। इसके बाद फिल्म निर्माता की तरफ से अर्चना नाग नाम की महिला और उसकी सहयोगी के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई गई। उन्होंने आरोप लगाए कि अश्लील तस्वीरों के नाम पर उन्हें ब्लैकमेल किया जा रहा है और पैसों की मांग की जा रही है।
अब इसके बाद एक महिला की तरफ से पुलिस में शिकायत दर्ज कराई कि अर्चना ने उसे ड्रिंक में नशीला मिलाकर दिया है, जिसके बाद अर्चना ने उसकी अश्लील तस्वीरें ली। महिला ने आरोप लगाए कि अर्चना उसे कारोबारियों और रजनेताओं समेत प्रभावशाली लोगों को ब्लैकमेल करने के लिए कहती है।
सियासत तेज
भाजपा महिला मोर्चा की ओडिशा अध्यक्ष स्मृति पटनायक ने कहा, ‘पुलिस ने जल्दबाजी में अर्चना नाग को गिरफ्तार किया है। कई बीजद नेता और मंत्री इस मामले में शामिल हैं। इस रैकेट में राज्य सरकार सीधे तौर पर शामिल है। पुलिस की तरफ से बरामद किए गए गैजेट्स में से बीजद नेताओं, मंत्रियों, पुलिस और नौकरशाहों से जुड़ी जानकारियों को सरकार को सार्वजनिक करना चाहिए। हम मामले में सीबीआई जांच चाहते हैं, क्योंकि पुलिस ने मामले में खास प्रगति करने में असफल रहीहै।’
कांग्रेस नेताओं ने भी बीजद सरकार पर सवाल उठाए हैं कि आखिर पुलिस और प्रशासन की जानकारी के बगैर एक 28 साल की महिला ने कैसे इतने लोगों को ब्लैकमेल कर दिया। ओडिशा छात्र कांग्रेस के अध्यक्ष यासिर नवाज का कहना है, ‘इससे पहले राज्य सरकार शराब का प्रचार कर रही थी औऱ अब यह वेश्यावृत्ति को बढ़ावा दे रही है। राज्य में सरकार समर्थित वेश्यालय खोले जा रहे हैं। अर्चना नाग ने पुलिस और प्रशासन की जानकारी के बगैर कैसे अपना साम्राज्य चला लिया?’ उन्होंने कहा, ‘जब पत्रकारों को विधानसभा और राज्य सचिवालय में जाने से रोका जा रहा है। तब अर्चना को बगैर किसी पाबंदी के विधानसभा में जाने की अनुमति थी।’
पुलिस का क्या कहना है
भुवनेश्वर पुलिस उपायुक्त प्रतीक सिंह का कहना है कि महिला की तरफ से दर्ज FIR के आधार पर नाग के खिलाफ IPC की धारा 387, 420 और 506 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
कौन है अर्चना नाग?
कालाहांडी की 28 वर्षीय अर्चना नाग को पुलिस ने बीते हफ्ते गिरफ्तार किया था। बाद में उसे एक महिला की शिकायत पर जेल भेज दिया गया। महिला ने आरोप लगाए थे कि अर्चना उसे वेश्यावृत्ति में धकेल रही थी और उसका इस्तेमाल प्रभावशाली लोगों को ब्लैकमेल करने में कर रही थी। पुलिस ने उसका मोबाइल फोन, लैपटॉप, पेन ड्राइव और कंप्यूटर भी जब्त किया था।
कैसे बनाती थी लोगों को अपना शिकार?
डीसीपी ने कहा, ‘उसका काम करने का तरीका पीड़ितों के साथ दोस्ती बढ़ना था। इसके बाद वह उन्हें अपने घर बुलाती और करीब होने की कोशिश करती थी। इस दौरान वह गुप्त कैमरा की मदद से उनकी निजी तस्वीरों खींच लेती और उन्हें ब्लैकमेल करती थी, जो प्रभावशाली थे। हम उसकी बैंक और लेनदेन की जानकारी हासिल कर रहे हैं और रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया से जरूरी जानकारियां मांगी गई हैं। सभी पीड़ितों की पहचान के प्रयास किए जा रहे हैं।’


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